धूल कभी जो आँधी बन के आएगी
पल दो पल फिर आँख कहाँ खुल पाएगी
अक्षत मन तो स्वप्न नए सन्जोयेगा
बीज नई आशा के मन में बोयेगा
खींच लिए जायेंगे जब अवसर साधन
सपनों की मृत्यु उस पल हो जायेगी
पल दो पल फिर
...
बादल बूँदा बाँदी कर उड़ जाएँगे
चिप चिप कपडे जिस्मों से जुड़ जाएँगे
चाट के ठेले जब सीले पड़ जाएँगे
कमसिन सड़कों पर कैसे फिर खाएगी
पल दो पल फिर
...
कितने कीट पतंगे
घर में आएँगे
मखमल के कीड़े
दर्शन दे जाते जाएँगे
मेंढक की
टर-टर झींगुर की रुन-झुन भी
आँगन में फिर गीत ख़ुशी के गाएगी
पल दो पल फिर
...
वाह ! लाळिल्य और माधुर्य भाषा के प्रति आकर्षण उत्पन्न करते हैं.
जवाब देंहटाएंहृदयस्पर्शी सृजन के लिये आपको बधाई.
बहुत आभार रविन्द्र भाई ...
हटाएंआपकी इस प्रविष्टि् के लिंक की चर्चा कल मंगलवार (03-08-2019) को "बप्पा इस बार" (चर्चा अंक- 3447) पर भी होगी।
जवाब देंहटाएं--
चर्चा मंच पर पूरी पोस्ट नहीं दी जाती है बल्कि आपकी पोस्ट का लिंक या लिंक के साथ पोस्ट का महत्वपूर्ण अंश दिया जाता है।
जिससे कि पाठक उत्सुकता के साथ आपके ब्लॉग पर आपकी पूरी पोस्ट पढ़ने के लिए जाये।
--
श्री गणेश चतुर्थी की
हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
सादर...!
डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'
आभार शास्त्री जी ...
हटाएंवाह
जवाब देंहटाएंआभार सर ...
हटाएंवाह !! अत्यन्त सुन्दर नवगीत ।
जवाब देंहटाएंशुक्रिया मीना जी ...
हटाएंवाह बेहतरीन रचनाओं का संगम।एक से बढ़कर एक प्रस्तुति।
जवाब देंहटाएंबेखयाली में भी तेरा ही ख्याल आये क्यूँ बिछड़ना है ज़रूरी ये सवाल आये
शुक्रिया आपका ...
हटाएंकितने कीट पतंगे घर में आएँगे
जवाब देंहटाएंमखमल के कीड़े दर्शन दे जाते जाएँगे
मेंढक की टर-टर झींगुर की रुन-झुन भी
आँगन में फिर गीत ख़ुशी के गाएगी
पल दो पल फिर ...मानसून के मौसम में मॉनसूनी शब्दों से सजा सुन्दर गीत ! इंतज़ार रहता है आपकी रचनाओं का दिगंबर सर
बहुत आभार योगी जी ...
हटाएंआपकी लिखी रचना "सांध्य दैनिक मुखरित मौन में" आज सोमवार 02 सितंबर 2019 को साझा की गई है......... "सांध्य दैनिक मुखरित मौन में" पर आप भी आइएगा....धन्यवाद!
जवाब देंहटाएंआभार दिग्विजय जी ...
हटाएंसुन्दर नवगीत..सुन्दर भावों को बखूबी शब्द जिस खूबसूरती से तराशा है काबिले तारीफ है :(
जवाब देंहटाएंशुक्रिया संजय जी ...
हटाएंबहुत खूब
जवाब देंहटाएंआभार देवेन्द्र जी ...
हटाएंसुंदर गीत
जवाब देंहटाएंशुक्रिया धीरू जी ... अच्छा लगा बहुत आपको ब्लॉग पर देख कर ...
हटाएंचिप चिप कपडे जिस्मों से जुड़ जाएँगे
जवाब देंहटाएंचाट के ठेले जब सीले पड़ जाएँगे
वाह क्या बात है।
शुक्रिया ... बहुत अच्छा लगा आपको देख कर ... नियमित हो जाइए आप भी ...
हटाएंवाह अद्भुत रचना
जवाब देंहटाएंआभार आपका ...
हटाएंअक्षत मन तो स्वप्न नए सन्जोयेगा
जवाब देंहटाएंबीज नई आशा के मन में बोयेगा
खींच लिए जायेंगे जब अवसर साधन
सपनों की मृत्यु उस पल हो जायेगी
पल दो पल फिर ...
बहुत ही लाजवाब रचना हमेशा की तरह....
वाह!!!!
बहुत आभार सुधा जी ...
हटाएंबहुत सुंदर, दृश्य उत्पन्न करता अनुपम सृजन
जवाब देंहटाएंनासवा जी बेहतरीन कृति।
आपका आभार बहुत बहुत ...
हटाएंबहुत सृजन सर
जवाब देंहटाएंसादर
आभार आपका ...
हटाएंसुन्दर सृजन
जवाब देंहटाएंजी शुक्रिया ...
हटाएंआपका सुन्दर नवगीत पढ़कर "मैं पल दो पल का साथी हूँ" गीत होंठों पर आ गया
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर नवगीत
आपको गणेशोत्सव की हार्दिक शुभकामनाएँ!
आभार आपका कविता जी ...
हटाएंजीवन चक्र
जवाब देंहटाएंजी सच कहा है ...
हटाएंआभार आपका ...
सुन्दर मानसून चित्रण
जवाब देंहटाएंशुक्रिया जयश्री जी ...
हटाएंसुन्दर रचना
जवाब देंहटाएंआभार अभिलाषा जी ...
हटाएं
जवाब देंहटाएंजी नमस्ते,
आपकी लिखी रचना 4 सितंबर 2019 के लिए साझा की गयी है
पांच लिंकों का आनंद पर...
आप भी सादर आमंत्रित हैं...धन्यवाद।
बहुत शुक्रिया ...
हटाएंइस उमस ने भी लिखवा लिया आपसे...बहुत खूब...👍👍👍
जवाब देंहटाएंजी ... प्राकृति है कुछ भी करवा जाती है ...
हटाएंआभार आपका ...
अक्षत मन तो स्वप्न नए सन्जोयेगा
जवाब देंहटाएंबीज नई आशा के मन में बोयेगा!!!!
अत्यंत सादगी से मन के बालसुलभ चुलबुले भावों को , मधुरता से रचना में पिरोया है | बहुत प्यारी रचना के लिए हार्दिक शुभकामनायें आदरणीय दिगम्बर जी |
आपका आत्मीय आगमन प्रसन्नता से विभोर कर जाता है ...
हटाएंबहुत आभार आपका ...
जवाब देंहटाएंकितने कीट पतंगे घर में आएँगे
मखमल के कीड़े दर्शन दे जाते जाएँगे
मेंढक की टर-टर झींगुर की रुन-झुन भी
आँगन में फिर गीत ख़ुशी के गाएगी
पल दो पल फिर ...
वाह ! जबरदस्त, गुरुदेव
वाह काफी दर्शन छुपा हैं इस रचना में।
जवाब देंहटाएंबादल बूँदा बाँदी कर उड़ जाएँगे
चिप चिप कपडे जिस्मों से जुड़ जाएँगे
चाट के ठेले जब सीले पड़ जाएँगे
कमसिन सड़कों पर कैसे फिर खाएगी
पल दो पल फिर ...
आभार
जवाब देंहटाएंआपके एक ब्लॉग पोस्ट की वीडियो के साथ ब्लॉग चर्चा नरेंद्र मोदी से शिकायत कैसे करे ? और बेस्ट 25 में की गई है
कृपया एक बार जरूर देखें
Enoxo multimedia
सुंदर पंक्तियाँ
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